छत्तीसगढ़ संवाददाता
कुरुद, 16 अप्रैल। दिन में काले बादल छाए रहने के बाद बे-मौसम बरसात की संभावना बन रही थी। जो दोपहर बाद सच में तब्दील हो गई। करीब चार बजे गरज चमक के साथ घंटे भर हुई बारिश ने सबकुछ तरबतर कर दिया। अचानक आई इस मुसीबत ने जनजीवन को अस्तव्यस्त कर दिया।
मंगलवार को दोपहर बाद यहां जमकर बरसात हुई। जिसके चलते साप्ताहिक बाजार करने आए फुटकर व्यापारियों एवं क्षेत्र वासियों को परेशानी का सामना करना पड़ा। करीब घंटे भर हुई तेज बारिश ने निचली बस्ती को जलमग्न कर दिया। पुरानी मंडी के पीछे दानीपारा के प्रवेश द्वार में सडक़ पर घुटने तक पानी भर गया। जल प्रवाह बढऩे से नाली का कीचड़ सडक़ पर फैल गया।
इसी तरह तहसील रोड़, बैगापारा आदि मुहल्ले से भी जलभराव की खबर मिली है। थोड़ी देर की बरसात ने नगर पंचायत के ड्रेनेज सिस्टम की पोल खोल कर रख दी है। इस बेमौसम बरसात ने सब्जी उत्पादक एवं रबी फसल के किसानों को नुकसान में डालने का काम किया है। अचानक हुई बारिश ने सोसाइटियों एवं भंडारण केन्द्र मे रखें खुले धान को भिगोने में कोई कसर बाकी नहीं छोड़ी है। लेकिन गर्मी सीजन में पानी गिरने से तापमान का पारा नीचे आ गया। शाम और रात को सुहानी ठंडी हवा चलने लगी, छत पे लगी टंकी का पानी ठंडा होने से लोगों ने जमकर इंज्वाय किया। परन्तु बिजली विभाग ने बत्ती गुलकर नागरिकों का मज़ा किरकिरा करने में कोई कसर नही छोड़ी। सोशल मीडिया के माध्यम से उपभोक्ता विद्युत विभाग और सरकार को कोसते रहे।
छत्तीसगढ़ संवाददाता
कुरुद, 16 अप्रैल। दिन में काले बादल छाए रहने के बाद बे-मौसम बरसात की संभावना बन रही थी। जो दोपहर बाद सच में तब्दील हो गई। करीब चार बजे गरज चमक के साथ घंटे भर हुई बारिश ने सबकुछ तरबतर कर दिया। अचानक आई इस मुसीबत ने जनजीवन को अस्तव्यस्त कर दिया।
मंगलवार को दोपहर बाद यहां जमकर बरसात हुई। जिसके चलते साप्ताहिक बाजार करने आए फुटकर व्यापारियों एवं क्षेत्र वासियों को परेशानी का सामना करना पड़ा। करीब घंटे भर हुई तेज बारिश ने निचली बस्ती को जलमग्न कर दिया। पुरानी मंडी के पीछे दानीपारा के प्रवेश द्वार में सडक़ पर घुटने तक पानी भर गया। जल प्रवाह बढऩे से नाली का कीचड़ सडक़ पर फैल गया।
इसी तरह तहसील रोड़, बैगापारा आदि मुहल्ले से भी जलभराव की खबर मिली है। थोड़ी देर की बरसात ने नगर पंचायत के ड्रेनेज सिस्टम की पोल खोल कर रख दी है। इस बेमौसम बरसात ने सब्जी उत्पादक एवं रबी फसल के किसानों को नुकसान में डालने का काम किया है। अचानक हुई बारिश ने सोसाइटियों एवं भंडारण केन्द्र मे रखें खुले धान को भिगोने में कोई कसर बाकी नहीं छोड़ी है। लेकिन गर्मी सीजन में पानी गिरने से तापमान का पारा नीचे आ गया। शाम और रात को सुहानी ठंडी हवा चलने लगी, छत पे लगी टंकी का पानी ठंडा होने से लोगों ने जमकर इंज्वाय किया। परन्तु बिजली विभाग ने बत्ती गुलकर नागरिकों का मज़ा किरकिरा करने में कोई कसर नही छोड़ी। सोशल मीडिया के माध्यम से उपभोक्ता विद्युत विभाग और सरकार को कोसते रहे।